हिमाचल प्रदेश :
प्रागेतिहासिक काल से मानव इतिहास का अभिन्न अंग रही है यह देवभूमि हिमाचल। सिंधु घाटी सभ्यता के प्रामाणिक अवशेष ,मानव सभ्यता के विकासशील क़दमों के निशान भी यहाँ जगह -जगह बिखरे हुए मिल जाते हैं। आदिदेव भगवान शिव-पार्वती , नागमाता कद्रू , आदिपुरुष मनु , परशुराम, जमदग्नि , बाणासुर ,हिडिम्बा , घटोत्कच ,बर्बरीक आदि देव ,नाग। मानव ,दैत्य ,दानव आदि अलग -अलग परंपराओं को अपने आँचल में समाहित करती देवभूमि की संस्कृति आज भी निश्छल और पावन मन से सबको समादृत करती है।
१५ अप्रैल १९४८ को लगभग ३० रियासतों को एकीकृत कर हिमाचल प्रदेश की स्थापना की गई थी और २५ जनवरी १९७१ को पूर्ण राज्य।
हिमाचल प्रदेश के स्थापना -दिवस की हार्दिक शुभकामनाएँ
प्रागेतिहासिक काल से मानव इतिहास का अभिन्न अंग रही है यह देवभूमि हिमाचल। सिंधु घाटी सभ्यता के प्रामाणिक अवशेष ,मानव सभ्यता के विकासशील क़दमों के निशान भी यहाँ जगह -जगह बिखरे हुए मिल जाते हैं। आदिदेव भगवान शिव-पार्वती , नागमाता कद्रू , आदिपुरुष मनु , परशुराम, जमदग्नि , बाणासुर ,हिडिम्बा , घटोत्कच ,बर्बरीक आदि देव ,नाग। मानव ,दैत्य ,दानव आदि अलग -अलग परंपराओं को अपने आँचल में समाहित करती देवभूमि की संस्कृति आज भी निश्छल और पावन मन से सबको समादृत करती है।
१५ अप्रैल १९४८ को लगभग ३० रियासतों को एकीकृत कर हिमाचल प्रदेश की स्थापना की गई थी और २५ जनवरी १९७१ को पूर्ण राज्य।
हिमाचल प्रदेश के स्थापना -दिवस की हार्दिक शुभकामनाएँ
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